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शहर अलीगढ़ की बनावट कटोरे नुमा आकार की है इसीलिए यहां के मौसम और बिन-मौसम जल भराव से पब्लिक को दो चार होना पड़ता है। राकेश बाबू टार्जन पिछले लगभग 18 साल से अलीगढ़ नगर निगम में राजस्व निरीक्षक के पद पर कार्य कर रहे थे अलीगढ़ उनको ऐसा रास आया की अपनी पदोन्नति भी किनारे कर दी।अब ऊपर सेटिंग नहीं हुई तो इसी पद पर गाजीपुर चले गए तबादले के बाद अब पदोन्नति की याद आई।निर्माण विभाग में तैनात अवर अभियंता अम्बरीश कुमार वर्मा भी पिछले 8 साल से यहीं डटे हुए थे उनकी भी सेटिंग बिगड़ गई और इसी पद पर नगीना चले गए। अधिशासी अभियंता यांत्रिक मनोज कुमार प्रभात लगभग 3 वर्ष पहले यहां आए थे। पिछले कई सालों से यहां मूल पद स्वास्थ्य अधिकारी पर किसी डॉक्टर की नियुक्ति नहीं हो पाई।अपने प्रमोशन की आस में बैठे थे वो मिला नहीं तबादला भी प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में हो गया। सफाई एवं खाद्य निरीक्षक रमेश चंद सैनी को आगरा चीफ सफाई एवं खाद्य निरीक्षक के पद पर भेजा गया है अलीगढ़ निगम में यह पद नहीं है। इधर निगम की आय बढ़ाने में मुख्य कर निर्धारण अधिकारी/सचिवालय सचिव विनय कुमार राय ने इस शहर में आकर एक नई पहचान हाउस टैक्स वसूली को दी। वित्तीय वर्ष 20-21 में सबसे बड़ी चुनौती अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी से पिछले 15 सालों का बकाया 15 करोड़ विभाग के कर निर्धारण अधिकारी आरपी सिंह व सहायकों के साथ मिल कर जमा कराया साथ ही सरकारी भवन दीनदयाल उपाध्याय हॉस्पिटल, आरटीओ, पुलिस विभाग, व अन्य विभागों से वसूली की। वित्तीय वर्ष 20-21 में सबसे बड़ी चुनौती अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी से पिछले 15 सालों का बकाया 15 करोड़ विभाग के कर निर्धारण अधिकारी आरपी सिंह व सहायकों के साथ मिल कर जमा कराया साथ ही सरकारी भवन दीनदयाल उपाध्याय हॉस्पिटल, आरटीओ, पुलिस विभाग, व अन्य विभागों से वसूली की।

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